मुजफ्फरनगर नगर पालिका चेयरमैन मीनाक्षी स्वरूप का बेटा हिरासत में, भीम कंसल की फैक्ट्री पर भी छापा
- पांच करोड़ रुपये के कर अपवंचन का मामला
- चेयरमैन मीनाक्षी स्वरूप के पति के ठिकानों पर छापेमारी
- जीएसटी की टीम ने शनिवार की सुबह मारे छापे
- जय बालाजी स्टील्स के दोनों निदेशक हिरासत में
- जीएसटी की टीम हिरासत में लेकर मेरठ आयी
- जीएसटी के फर्जी बिल प्रकरण से जुड़ा है मामला-सूत्र
मुजफ्फरनगर। केंद्रीय जीएसटी विभाग ने मुजफ्फरनगर में छापेमारी कर भाजपा नेता और नगरपालिका चेयरमैन के पुत्र समेत शहर के एक और प्रमुख उद्यमी को हिरासत में ले लिया है। साथ ही राज्य की जीएसटी ईकाई भी एक उद्योगपति की फैक्ट्री पर छापेमारी कर रही है। यह छापेमारी कर अपवंचन में पांच करोड़ रुपये से अधिक की चोकी होने के सबूत मिलने के बाद की गई है।
दरअसल, शनिवार सुबह केंद्रीय जीएसटी की इकाई डीजीसीआई की टीम ने एडिशनल डायरेक्टर मीनू शुक्ला पाठक और डिप्टी डायरेक्टर कपिल जोशी के नेतृत्व में मुजफ्फरनगर नगर पालिका परिषद अध्यक्ष मीनाक्षी स्वरूप के आवास पर छापा मारा। मीनाक्षी स्वरूप के पति गौरव स्वरूप मुजफ्फरनगर के प्रमुख उद्योगपति हैं और जय बालाजी के नाम से स्टील फैक्ट्री समेत कई अन्य उद्योग धंधे संचालित करते हैं।
जीएसटी की टीम कर अपवंचन में पांच करोड़ से अधिक की कर चोरी के सबूत मिलने पर भाजपा नेता गौरव स्वरूप और पालिका चेयरमैन मीनाक्षी स्वरुप के छोटे बेटे कार्तिक स्वरूप को हिरासत में लेकर मेरठ मुख्यालय चली गई। गौरव स्वरूप अपनी इच्छा से बेटे के साथ टीम के साथ चले गए।
जीएसटी की एक और टीम ने गौरव स्वरूप के समधी और मुजफ्फरनगर के एक अन्य प्रमुख उद्यमी एसडी एसोसिएशन के आकाश कुमार के आवास पर भी छापा मारा, लेकिन वह वहां नहीं थे। बताया गया है कि छापेमारी के बाद वह खुद ही मेरठ पहुंच गये हैं जहां उनसे पूछताछ की जा रही है।
बता दें कि मेरठ रोड पर संचालित फैक्ट्री जय बालाजी स्टील्स में आकाश कुमार और गौरव स्वरूप के बेटे कार्तिक स्वरूप ही डायरेक्टर हैं। र चोरी पांच करोड़ से ज्यादा की मानी गई है, इसलिए दोनों डायरेक्टर को हिरासत में लिया गया है। समाचार लिखे जाने तक मेरठ कार्यालय में उनसे पूछताछ जारी है। कानून के जानकारों का कहना है कि कर अपवंचन के इस तरह के मामलों में एक निश्चित राशि जमा करने के बाद उन्हें बाकी राशि जमा करने की मोहलत देकर छोड़ा जा सकता है, फिलहाल पूछताछ जारी है।
दरअसल यह मामला पिछले कई साल से चल रहा है। भाजपा की नयी मंडी की सभासद के पति विकल्प जैन का फर्जी बिल का एक रैकेट पकड़ा गया था। इसमें मुजफ्फरनगर के कई फैक्ट्री मालिक फर्जी बिल के मामलों में शामिल थे। उस मामले में विकल्प जैन जेल भी गए थे। उस समय पकडे गए कागजों के क्रम में ही लगातार यह जांच चल रही है और जीएसटी और आयकर विभाग की टीम कार्यवाही कर रही है।
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